Savera | सवेरा

woman jumping near trees

धवांत का  अंत होने को सवेरा

चह चहाने लगा चिड़ियों का बसेरा ।

 

क्षितिज पर खिंच गई लाल रेखाएं

सरोज सरोवर में अब  मुस्काए ।

 

मिलिंद फूलों से बातें करता

चुपके-चुपके  मकरंद चुराता ।

 

भूमि पुत्र ले बैलों का जोड़ा

वसुंधरा पर श्रमवारी निचोड़ा ।

 

फसलें सुरभि से लहराती

यह मनोरम दृश्य लुभाती ।

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