Kasak | कसक

तेरी बातों से पता चलता है 

निगाहों से पता चलता है 

आज भी तुमको कुछ खलता है ।

तेरी बातों से…….

 

दफन है जो सीने में 

उसकी आहट है तेरी जीने में 

अफसोस में जो पलता है ।

तेरी बातों से ……….

 

बहने दो दिल दरिया को समंदर की ओर 

उसका ना कोई छोर पता चलता है 

तेरी माथे पे जो बनके सीकन उभरता है ।

तेरी बातों से

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